पाकिस्तान के बयान ‘अप्रैल में हमला कर सकता है भारत’ को विदेश मंत्रालय ने ‎किया खारिज


नई दिल्ली। आतंकवाद को अपनी पनाह में रखने वाले पड़ोसी देश पाकिस्तान ने दावा किया है कि भारत 16 से 20 अप्रैल के बीच फिर से पाकिस्तान पर हमला करने की योजना बना रहा है। वहीं भारत ने पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी की इस टिप्पणी को ‘गैरजिम्मेदाराना और निरर्थक’ ठहराते हुए खारिज कर दिया है। कुरैशी ने कहा था कि पाकिस्तान के पास पुख्ता खुफिया जानकारी है कि भारत पाकिस्तान पर एक और हमले की योजना बना रहा है।



इतना ही नहीं पाकिस्तान ने भारतीय उप उच्चायुक्त गौरव अहलूवालिया को तलब किया और किसी भी दुस्साहस’ को लेकर चेतावनी जारी की। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने तीखे शब्दों में कहा कि पाकिस्तानी विदेश मंत्री की टिप्पणी का मकसद क्षेत्र में युद्ध उन्माद को बढ़ावा देना है। कुमार ने बयान में कहा, पाकिस्तान के विदेश मंत्री द्वारा क्षेत्र में युद्ध उन्माद को बढ़ावा देने के साफ मकसद वाले गैरजिम्मेदाराना और निरर्थक बयान को भारत खारिज करता है।



यह हथकंडा पाकिस्तान स्थित आतं‎कियों को भारत में आतंकी हमला करने के लिए आह्वान है। उन्होंने कहा कि भारत को सीमा पार से होने वाले किसी भी आतंकवादी हमले के लिए दृढ़तापूर्वक और निर्णायक जवाब देने का अधिकार है। कुमार ने कहा कि पाकिस्तान को स्पष्ट कर दिया गया है कि वह भारत में सीमा पार से होने वाले आतंकी हमले की जिम्मेदारी से खुद को अलग नहीं कर सकता। उन्होंने कहा कि इस तरह के मामलों में अपनी संलिप्तता के लिए बहानेवाजी का कोई भी हथकंडा सफल नहीं होगा।



पाकिस्तान को अपने क्षेत्रों से चल रहे आतंकवाद के खिलाफ विश्वसनीय कदम उठाने की जरूरत है। कुमार ने कहा कि पाकिस्तान को आतंकी हमलों के बारे में किसी भी कार्रवाई योग्य और विश्वसनीय खुफिया जानकारी को साझा करने के लिए स्थापित राजनयिक और सैन्य संचालन महानिदेशक चैनलों का उपयोग करने की सलाह दी गयी है। बता दें ‎कि पाकिस्तान ने रविवार को कहा कि उसने भारतीय उप उच्चायुक्त गौरव अहलूवालिया को तलब किया और किसी भी दुस्साहस’ को लेकर चेतावनी जारी की।



पाकिस्तानी विदेश कार्यालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल ने कहा कि पाकिस्तान पर हमले की भारत की योजना संबंधी कुरैशी की टिप्पणी के बाद यह कदम उठाया गया। कश्मीर के पुलवामा जिले में 14 फरवरी को पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद के एक आत्मघाती हमले के बाद दोनों देशों के बीच तनाव की ‎स्थि‎ति बनी हुई है। उस हमले में सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हो गए थे। इसके बाद भारतीय वायुसेना ने आतंकवाद-रोधी अभियान के तहत 26 फरवरी को पाकिस्तान के अंदर बालाकोट में जैश-ए-मोहम्मद के सबसे बड़े प्रशिक्षण शिविर को निशाना बनाया था।